विवाह में आ रही अड़चनों को दूर करने के लिए अपनाएं वास्तुशास्त्र ये तरीका

विवाह या शादी इंसान के जीवन का अहम पड़ाव है। विवाह हमारी जिंदगी को एक नई राह और नई दिशा प्रदान करता है। विवाह से नये सामाजिक संबंध बनते हैं, जो हमारे जीवन के सुख और दुख में साथ निभाते हैं। लेकिन कई बार विवाह में कई प्रकार की बाधांए और समस्याएं आने लगती हैं।
बनते –बनते शादीयां टूट जाती हैं या फिर सही संबंध ही नहीं बन पा रहा होता है। ऐसे में वास्तुशास्त्र भी हमारी मदद करता है। वास्तु शास्त्र में भी कई ऐसे उपाय हैं जो हमारे जीवन में आने वाली विवाह संबंधी समस्या को दूर करते हैं। आइए जानते हैं वास्तु के उन उपायों के बारे में….. 1-विवाह योग्य कुंवारे लड़कों को दक्षिण और दक्षिण पश्चिम दिशा में नहीं सोना चाहिए और लड़कियों को उत्तर पश्चिम दिशा में सोना चाहिये। 2- ध्यान रखें कि सोते समय कि आपके पैर उत्तर और सिर दक्षिण दिशा में नहीं होने चाहिए। 3- कमरा हवादार और रोशनी वाला होना चाहिए। अंधेरे कमरे में रहने या सोने से जीवन में निगेटिविटी आती है। 4- सोते समय बेड पर गुलाबी रंग की चादर बिछाएं। गुलाबी रंग को प्रेम और रोमांस का रंग माना जाता है। इस रंग की चादर पर सोने से मन में प्रेम-प्यार की भावनाओं में वृद्धि होती है। 5- जिन लड़कों के विवाह में बाधा आ रही हो, उनके कमरे की दीवारों पर गुलाबी या चमक दार पीले रंग से रंगवा देना चाहिए। ये दोनों ही रंग विवाह में आने वाली बाधा को दूर करते हैं। 6- विवाह योग्य लड़के और लड़कियों को काले रंग के कपड़े नहीं पहनने चाहिए। ये रंग नकारात्मकता और विरोध का रंग हैं। वास्तु के अनुसार इस रंग के कपड़े आपका संबंध बनने में विपरीत प्रभाव उत्पन्न करते हैं। 7- विवाह योग्य लड़के या लड़कियों के कमरे में एक से अधिक दरवाजे नहीं होने चाहिए।वास्तु के अनुसार ये आपके विवाह और मन में भटकावा उपन्न करता है। 8- जिन लोगों के विवाह में समस्या आ रही हैं, उन्हें घर में केले का पौधा लगा कर, प्रतिदिन पौधे की पूजा करें। केले के पौधे में विष्णु जी का वास होता है जो हमारी विवाह संबंधी समस्याओं को तुरंत हल करते हैं।

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