अमेरिका के दुश्मनों को दी कड़ी चेतावनी

वाशिंगटन । भारतीय-अमेरिकी काश पटेल को अमेरिका की शीर्ष जांच एजेंसी, संघीय जांच ब्यूरो (एफबीआई) का निदेशक नियुक्त किया गया है। वह इस पद पर पहुंचने वाले पहले भारतीय मूल के व्यक्ति हैं।
अपनी नियुक्ति के बाद उन्होंने अमेरिका के दुश्मनों को सख्त चेतावनी देते हुए कहा, “हम इस ग्रह के हर कोने में तुम्हारा पीछा करेंगे।”

पटेल को अमेरिकी सीनेट ने 51-49 के मामूली बहुमत से एफबीआई निदेशक के रूप में मंजूरी दी। हालांकि, उनके नामांकन का डेमोक्रेट्स ने कड़ा विरोध किया। यहां तक कि दो रिपब्लिकन सीनेटर, लिसा मुर्कोव्स्की और सुसान कोलिन्स ने भी उनके खिलाफ वोट दिया। सीनेटर कोलिन्स ने कहा कि पटेल ने एफबीआई की निष्पक्षता पर सवाल उठाए हैं, जिससे उनकी नेतृत्व क्षमता पर संदेह होता है।

पटेल ने क्रिस्टोफर रे की जगह यह पद संभाला है, जो दो साल पहले ही इस्तीफा दे चुके थे। एफबीआई निदेशक का कार्यकाल 10 साल का होता है, लेकिन उनके दो पूर्ववर्तियों का कार्यकाल समय से पहले समाप्त हो गया था। इससे पहले, 2017 में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जेम्स कॉमी को उनके कार्यकाल के चार साल बाद ही हटा दिया था।

निदेशक पद संभालने के बाद पटेल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर अपनी पहली पोस्ट की। उन्होंने कहा, “एफबीआई की एक महान विरासत है, लेकिन हाल के वर्षों में न्याय प्रणाली के राजनीतिकरण ने जनता का भरोसा कमजोर किया है। यह अब खत्म होगा।” उन्होंने एफबीआई को पारदर्शी और जवाबदेह बनाने की बात कही और कहा कि उनका लक्ष्य जनता का विश्वास वापस पाना है।

पटेल के नामांकन को लेकर काफी विवाद हुआ। उनके आलोचकों का कहना है कि उन्होंने एफबीआई को लेकर कई राजनीतिक बयान दिए हैं, जो इस एजेंसी की निष्पक्षता के लिए खतरा हो सकते हैं। हालांकि, ट्रंप समर्थकों और कई रिपब्लिकन नेताओं ने उनका समर्थन किया।

काश पटेल एक वकील रह चुके हैं और पहले पब्लिक डिफेंडर के रूप में काम कर चुके हैं। ट्रंप प्रशासन में उन्होंने रक्षा विभाग के चीफ ऑफ स्टाफ और राष्ट्रीय खुफिया विभाग के उप निदेशक जैसे महत्वपूर्ण पदों पर काम किया था। उनकी नियुक्ति ट्रंप के लिए भी अहम मानी जा रही है, क्योंकि वह अपने दूसरे कार्यकाल के लिए कई बड़े बदलाव कर रहे हैं।

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