द ब्लाट न्यूज़ । चेसिस नंबर व मार्का में मामूली फेरबदल कर बल्लभगढ़ तहसील में पुन:पंजीकरण करके मियाद पूरी कर चुके वाहनों की फर्जी नई आरसी (पंजीकरण सर्टिफिकेट) बनाई गई। गुप्तचर विभाग की तरफ से सूचना दिए जाने के बाद सीएम फ्लाइंग व डीसीपी बल्लभगढ़ ने मामले की जांच की। इस तरह से पांच वाहनों का पुन:पंजीकरण कर फर्जी आरसी बनाई गई। इनमें चार बड़े वाणिज्यिक व एक कार शामिल है। अब सीएम फ्लाइंग की तरफ से अज्ञात कर्मचारियों के खिलाफ सिटी बल्लभगढ़ थाने में धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज हुआ है।
दर्ज मुकदमे के अनुसार एक अर्थमूवर मशीन की वैधता 2015 तक थी। उसके चेसिस नंबर व मार्का में फेरबदल करके पुन:पंजीकरण किया गया और उसकी वैधता 2019 तक कर दी गई। एक क्रेन की वैधता 2017 थी। उसकी नई आरसी बनाकर वैधता 2032 कर दी गई। एक कैंटर की वैधता 2015 थी, उसे नई आरसी में 2020 कर दिया गया। एक स्विफ्ट कार की वैधता 2009 थी, उसे बढ़ाकर 2024 कर दिया गया। एक और अर्थमूवर मशीन जेसीबी की वैधता 2015 थी, उसे नई आरसी बनाकर 2018 कर दिया गया। इस तरह पुन: पंजीकरण कर वाहन मालिकों को अवैध रूप से फायदा पहुंचाया गया। इससे सरकार के राजस्व का नुकसान हुआ। वहीं मियाद पूरी कर चुके अनफिट वाहनों को भी सड़क पर दौड़ने का सर्टिफिकेट मिल गया।
सीएम फ्लाइंग का कहना है कि नया पंजीकरण करते समय चेसिस नंबर के आगे स्टार या डैश लगा दिया गया। इससे वाहनों का रजिस्ट्रेशन नंबर नहीं बदला और नए सिरे से पंजीकरण भी हो गया। इस प्रकरण में कई दलाल, कर्मचारी, आपरेटर व अधिकारियों की संलिप्तता की आशंका है। पुलिस अब जांच कर ऐसा करने वाले लोगों की पहचान करेगी। इसके बाद उनके खिलाफ कार्रवाई होगी।
पहले भी कई जिलों में हो चुका फर्जीवाड़ा : इससे पहले हिसार, सिरसा, फतेहाबाद, पलवल, होडल, रोहतक, यमुनानगर, करनाल व रोहतक आदि जिलों में इसी तरह का फर्जीवाड़ा पकड़ा जा चुका है। इस फर्जीवाड़े के सामने आने की शुरुआत फतेहाबाद के एसडीएम कार्यालय से 6 अप्रैल 2021 में हुई थी। इसके बाद बाद अलग-अलग जिलों में हुई जांच के बाद पुलिस ने सैकड़ों की संख्या में ऐसे वाहनों को जब्त करके उनका पंजीकरण रद कर दिया था।