सात भारतीय रक्षा कंपनियों ने देश के पहले पाँचवीं पीढ़ी के स्टील्थ लड़ाकू विमान, एडवांस्ड मीडियम कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (AMCA) के प्रोटोटाइप के डिज़ाइन और विकास के लिए रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) के साथ साझेदारी हेतु बोलियाँ प्रस्तुत की हैं। यह ऐसे समय में हुआ है जब एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (ADA) द्वारा जारी रुचि पत्र (EoI) का जवाब देने की अंतिम तिथि 30 सितंबर थी।
प्रमुख रक्षा कंपनियों ने प्रस्ताव प्रस्तुत किए
रक्षा अधिकारियों ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया कि बोलीदाताओं की सूची में लार्सन एंड टुब्रो, हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल), टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड, अदानी डिफेंस, कल्याणी स्ट्रैटेजिक सिस्टम्स जैसी प्रमुख कंपनियाँ शामिल हैं। ब्रह्मोस एयरोस्पेस के पूर्व प्रमुख ए. शिवथानु पिल्लई के नेतृत्व में एक उच्च-स्तरीय समिति अब बोलियों का मूल्यांकन करेगी। अधिकारियों के अनुसार, दो कंपनियों को चुना जाएगा और उत्पादन अधिकार दिए जाने से पहले उन्हें उच्चतम मानकों के अनुसार एएमसीए के पाँच प्रोटोटाइप बनाने के लिए 15,000 करोड़ रुपये आवंटित किए जाएँगे।
अंतिम निर्णय रक्षा मंत्रालय पर निर्भर
पिल्लई समिति द्वारा मूल्यांकन रिपोर्ट और सिफारिशें रक्षा मंत्रालय को सौंपी जाएंगी, जो उद्योग भागीदारों के चयन पर अंतिम निर्णय लेगा। पिछले साल सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति से मंजूरी मिलने के बाद से ही रक्षा मंत्रालय एएमसीए परियोजना से निकटता से जुड़ा हुआ है। रक्षा सचिव इस महत्वाकांक्षी परियोजना को समय पर पूरा करने के लिए डीआरडीओ और एडीए के साथ समन्वय में काम कर रहे हैं।
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