दार्जिलिंग । दार्जिलिंग नगर पालिका ने स्थानीय भाषा को लेकर नए दिशा-निर्देश जारी किये हैं। निर्देश के मुताबिक, नगर पालिका क्षेत्र में लगे सभी होर्डिंग अन्य भाषाओं में होने पर भी नेपाली भाषा अनिवार्य कर दी गई है। इस घोषणा से स्थानीय लोग खुश हैं।
एक निजी कॉलेज में समाजशास्त्र के प्रोफेसर रोशन तमांग ने शनिवार को कहा कि इस निर्देश को एक बड़ी रणनीति के हिस्से के रूप में देखा जा सकता है।
इसे लागू करके नगर पालिका सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करने और दैनिक गतिविधियों में भाषा के उपयोग को बढ़ाने में सक्षम होगी। यह गोरखालैंड क्षेत्रीय प्रशासन (जीटीए) और स्थानीय नेताओं को दार्जिलिंग हिल्स की अनूठी सांस्कृतिक विरासत को उजागर करने और संरक्षित करने में मदद करेगी।
वहीं, दार्जिलिंग एसोसिएशन ऑफ ट्रैवल एजेंट्स के महासचिव प्रदीप लामा ने कहा कि इससे पर्यटकों को कोई असुविधा नहीं होगी क्योंकि पर्यटक हिंदी और नेपाली दोनों देवनागरी लिपि का उपयोग करते हैं। जिसे पढ़ना आसान है।
आपको बता दे कि यह निर्णय हाल ही में भानु भवन में ‘भाषा दिवस’ के दौरान गोरखालैंड क्षेत्रीय प्रशासन (जीटीए) प्रमुख अनित थापा द्वारा की गई घोषणा के बाद लिया गया है।
उन्होंने जीटीए क्षेत्र के भीतर नेपाली साइन बोर्डों के महत्व पर जोर दिया और चेतावनी दी कि उल्लंघन करने वालों के व्यापार लाइसेंस रद्द किए जा सकते हैं। इसके बाद दार्जिलिंग नगर पालिका ने इस संबंध में आधिकारिक घोषणा की।