(रिपोर्टर) अजय कुमार
द ब्लाट न्यूज़ जनपद गाजियाबाद में 8 जुलाई को धर्मांतरण रैकेट का भंडाफोड़ होने के बाद जांच में धर्मांतरण रैकेट का मास्टरमाइंड 10 वर्ष पूर्व एएमयू से बीडीएस की पढ़ाई करने वाला हिंदू छात्र सौरभ निकला। जिसका 10 साल पहले AMU के हादी हसन होस्टल में रहते हुए धर्मांतरण कराया गया था।AMU के हॉस्टल में कराए गए धर्मांतरण के बाद उसका नाम अब्दुल्ला रखा गया था। वहीं हिंदू छात्र सौरभ आज धर्मांतरण रैकेट का मास्टरमाइंड अब्दुल्लाह बन गया। गाजियाबाद में धर्मांतरण रकेट का भंडाफोड़ होने के बाद अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी को लेकर AMU के पूर्व बीडीएस छात्र एवं भारतीय जनता पार्टी के पूर्व प्रवक्ता के द्वारा एएमयू पर जमात गतिविधियों को लेकर गंभीर आरोप लगाते हुए एएमयू को सवालों के घेरे में खड़ा कर दिया। भाजपा के पूर्व प्रवक्ता ने एएमयू पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि AMU के हॉस्टलों में जमाती गतिविधियां सुचारू रूप से चलती हैं। जहां AMU में विभिन्न देशों की जमात आती है और AMU से विभिन्न देशों में जमात जाती भी हैं।
AMU के हॉस्टलों में होने वाली इन जमाती गतिविधियों को लेकर उनके द्वारा एक प्रार्थना पत्र अलीगढ़ के एसएसपी को दिया गया है। उन्होंने कहा कि उन्हें एएमयू प्रशासन पर भरोसा नहीं है। जिसके चलते उन्होंने जिला प्रशासन से जमात गतिविधियों को लेकर गुहार लगाई है। वही उनके द्वारा एएमयू के हॉस्टलों में होने वाली जमात गतिविधियों को लेकर एसएसपी से गुहार लगाते हुए एक प्रार्थना पत्र दिया गया। एसएसपी ने उन्हें कार्रवाई किए जाने को लेकर आश्वासन दिया ओर कहा उनकी जो जांच एजेंसियां हैं, वह उनके द्वारा दिए गए प्रार्थना पत्र पर जांच रख रही है।
वही अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के हॉस्टलों में होने वाली जमाती गतिविधियों को लेकर सवालिया निशान खड़े करने वाले एएमयू के पूर्व बीडीएस छात्र एवं भाजपा के पूर्व प्रवक्ता डॉ निशित शर्मा के द्वारा एसएसपी को प्रार्थना पत्र देते हुए AMU के हॉस्टलों में होने वाली जमात गतिविधियों को लेकर जांच कराते हुए कार्यवाही किए जाने की मांग की गई है। वहीं एएमयू में होने वाली जमात गतिविधियों को लेकर एसएससी को दिए गए प्रार्थना पत्र के बाद डॉक्टर निशित शर्मा का कहना है कि 8 जुलाई को यूपी के गाजियाबाद जिले में धर्मांतरण रैकेट का गाजियाबाद पुलिस द्वारा पर्दाफाश किया गया था।
कहा धर्मांतरण रैकेट में पकड़े गए तीन आरोपियों में एक आरोपी की जब जांच की गई तो धर्मांतरण रैकेट में पकड़ा गए उस आरोपी का नाम आज अब्दुल्ला है। वहीं आरोपी अब्दुल्ला आज से करीब 10 वर्ष पूर्व अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में बीडीएस का छात्र था ओर तब उसका नाम सौरभ था,ओर स्वयं उसका धर्मांतरण खुद अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के हादी हसन होस्टल में रहते हुए हुआ था। इससे स्पष्ट है कि अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में जमाती गतिविधियां बहुत ही सुचारू रूप से चलती है। जबकि राष्ट्रीय ही नहीं अंतरराष्ट्रीय स्तर की जमातों का अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में आवागमन होता है। वही विभिन्न देशों से एएमयू में जमात आती हैं और विभिन्न देशों को जमात यहां से जाती भी हैं।कहा कि उनका मुख्य उद्देश्य जो हैं वह एएमयू के हिंदू छात्रों को टारगेट करना होता है। यहीं कारण है कि सौरभ जैसे हिंदू छात्रों को उनकी नब्ज पकड़कर उन्हें धर्मांतरित करना होता हैं। ओर धर्मांतरण कराने के बाद ये लोग एक हिंदू के साथ क्या करते ये आज आपके और सबके सामने हैं। कि वही एएमयू का हिंदू छात्र सौरभ आज धर्मांतरण रैकेट का मास्टरमाइंड बना है। भले ही 10 वर्ष हो गए हो जो सौरभ अब्दुल्ला बना है। वही जमात की गतिविधियां एएमयू में आज भी लगातार सुचारू रूप से चल रही है।ओर कहीं ना कहीं एएमयू में ऐसे सौरभ फिर दुबारा से ढूंढे जा रहे हैं।
इसी जमात गतिविधियों को लेकर उनके द्वारा एक प्रार्थना पत्र अलीगढ़ पुलिस एवं एसएसपी कलानिधि नैथानी को देते हुए आग्रह किया गया है। कि जो जमात की गतिविधियां चल रही है उन पर एक जांच कमेटी गठित की जाए। उन्होंने कहा कि उन्हें अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी एडमिनिस्ट्रेशन पर भरोसा नहीं है। जिसके चलते उन्होंने जिला प्रशासन पर जमात की गतिविधियों को लेकर गुहार लगाई हैं।कि एक जांच कमेटी गठित हो। ओर जो जमात गतिविधियां धर्मांतरण करने के लिए अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के हॉस्टलों के अंदर उनकी जांच हो। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा ये मांग अलीगढ़ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक कलानिधि नैथानी से की गई है। उनके द्वारा दिए गए प्रार्थना पत्र पर एसएसपी ने संज्ञान लेते हुए उन्हें आश्वासन दिया कि उनकी जो जांच एजेंसियां हैं वह उनके द्वारा दिए गए प्रार्थना पत्र पर जांच रख रही है।