द ब्लाट न्यूज़ । कोरोना वायरस को जड़ से मिटाने की दिशा में वैज्ञानिकों और शोधकर्ताओं ने महत्वपूर्ण सफलता पाई है। वैज्ञानिकों ने एक ऐसी टिकाऊ कोटिंग तैयार की है जिससे कोरोना वायरस, ई. कोली, एमआरएसए बैक्टीरिया समेत कई अन्य तरह के वायरस को मिनटों में समाप्त कर देती है। चाय के पौधे के तेल और दालचीनी के तेल से इस कोटिंग को तैयार किया गया है। इसे टिकाऊ बनाने के लिए वार्निश का प्रयोग किया गया है। इतना ही नहीं अमेरिकी खाद्य एवं औषधि प्रशासन (एफडीए) ने इसे सुरक्षित बताया है।
अमेरिका के मिशिगन विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं द्वारा तैयार यह नई कोटिंग परीक्षण में कारगर साबित हो रही है। वैज्ञानिकों ने इसे की-बोर्ड, मोबाइल फोन स्क्रीन और चिकन काटने वाले बोर्ड की सतह पर लगाया है। उसके बाद कई महीने तक इन सतहों को रगड़-रगड़ कर साफ किया गया। इसके बाद पाया गया कि यह कोटिंग 99.9 प्रतिशत रोगाणुओं को समाप्त कर दिया है।
मिशिगन विश्वविद्यालय में प्रोफेसर अनीश टुटेजा कहते हैं कि एयरपोर्ट और अस्पतालों जैसे रोगाणुओं से भरे सार्वजनिक स्थानों के लिए यह कोटिंग बहुत ही महत्वपूर्ण साबित हो सकती है। मैटर नामक पत्रिका में प्रकाशित शोध के सहायक लेखक टुटेजा कहते हैं कि कीटाणुनाशक के प्रयोग से रोगाणु तुरंत मर तो जाते हैं, लेकिन जल्द ही वे पनप जाते हैं, जिससे उस स्थान के संपर्क में आने वालों के संक्रमण की चपेट में आने का खतरा बढ़ जाता है।

शोधकर्ताओं की टीम में एसोसिएट प्रोफेसर गीता मेहता और मैटेरियल साइंस एवं इंजीनियरिंग में पीएचडी के छात्र अभिषेक ध्यान व टेलर रेपेट्टो भी शामिल थे। टुटेजा ने कहा कि हमारे पास तांबा और जस्ता जैसी धातुओं पर आधारित दीर्घकालिक जीवाणुरोधी सतह होती है, लेकिन बैक्टीरिया को मारने में उन्हें घंटों लग जाते हैं। नई कोटिंग हर सतह पर काम करती है।
इस कोटिंग को चाय के पौधे के तेल और दालचीनी के तेल से तैयार किया गया है। इसे टिकाऊ बनाने के लिए वार्निश का प्रयोग किया गया है। इन दोनों ही तेल का उपयोग सदियों से एक प्रभावी रोगाणुनाशक के रूप में होता रहा है। इनका असर दो मिनट के अंदर ही देखने को मिलता है। इस कोटिंग को ब्रश से या स्प्रे करके लगाया जा सकता है। अमेरिकी खाद्य एवं औषधि प्रशासन (एफडीए) ने इसे सुरक्षित बताया है।
The Blat Hindi News & Information Website